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    अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस सम्बोधन

    Publish Date: मार्च 9, 2023

    09-03-2023
    उपस्थित मातृशक्ति

    भारतीय समाज में नारी को अत्यन्त महत्वपूर्ण स्थान पर रखा गया है। हमारे यहां कहा भी गया है किः-
    ‘‘यत्र नार्यस्तु पूजयन्ते, रमन्ते तत्र देवता।“

    अर्थात्

    जहां नारी का सम्मान होता है वहां देवता निवास करते है।
    आज अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर यह बताते हुए मुझे बेहद खुशी हो रही है कि कोई भी क्षेत्र ऐसा नहीं है, जहां पर महिलाओं ने अपनी पहचान न बनाई हो। आज देश की राष्ट्रपति एक महिला है, जोकि हमारे लिए बड़े गर्व की बात है।
    महिलाओं के उत्थान व आत्मनिर्भरता की दिशा में अनेकों कार्य हुए हैं, जिनसे बदलाव आया है। इसी कड़ी में बेटी बचाओ-बेटी पढाओ अभियान की शुरुआत भी हरियाणा की धरती से हुई। इस अभियान में सबसे बड़ी भूमिका महिलाओं की रही है।
    आज हर क्षेत्र में महिलाओं ने अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई है। बड़े से बड़े पद पर महिला विराजमान हुई हैं। सरकार की ओर से अनेकों कार्यक्रम महिलाओं के लिए चलाए गए हैं, जिनमें बेटी बचाओ-बेटी पढाओ अभियान भी एक हैं। आज हर महिला यह प्रण लें कि वे बेटी को जन्म देने से न रोके। चाहें उन्हें किसी भी परिस्थिति का सामना क्यों न करना पड़े। बेटी बचाओ-बेटी पढाओ में महिलाओं की महत्वपूर्ण भूमिका है।
    लड़कियों के प्रति लोगों की मानसिकता में बदलाव आया है। पहले जहां केवल लडकों के जन्म पर ही कूंआ पूजन होता था। अब सरकार की ओर से लड़कियों के जन्म पर भी कूंआ पूजन का आयोजन करवाया जाता है, जिससे समाज में लड़कियों के प्रति एक सकारात्मक संदेश पहुंच रहा है। अनेकों उदाहरण हैं, जिनसे हमें महिलाओं की प्रतिभा व उनके हौसलों का पता चलता है। कल्पना चावला जिन्होंने प्रदेश व देश का नाम रोशन किया है जो दूसरी लड़कियों के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं। उन्होंने कहा कि महिलाओं ने अलग-अलग क्षेत्रों में अपना नाम स्थापित किया है।
    देश में माँ दुर्गा को शक्ति की देवी, लक्ष्मी को धन की देवी, सरस्वती को विद्या और ज्ञान की देवी माना गया है।
    साथ ही साथ माता सीता, पार्वती, सावित्री व माँ काली का नाम भी श्रद्धा पूर्वक लिया जाता है और घर-घर में उनका पूजन होता है।

    महिलाओं की रचनात्मक भूमिका के बिना समाज का विकास संभव नहीं है। हमारे वेद और ग्रंथ नारी शक्ति के योगदान से भरे पड़े हैं।
    झांसी की रानी लक्ष्मीबाई, महारानी अहिल्याबाई होल्कर व रानी दुर्गावती ने अपनी वीरता का परिचय देकर विश्व को नारी की ताकत दिखाई थी।
    आज हरियाणा प्रदेश के हर क्षेत्र में महिलाएं पुरूषों के साथ कन्धे से कन्धा मिला कर चल रही हैं। हरियाणा की महिलाओं ने खेलों के क्षेत्र में भी महत्वपूर्ण योगदान देकर देश का मान बढ़ाया है जैसे नीतू घनघस, साक्षी मलिक, विनेश फौगाट, शैफाली वर्मा, सविता पुनिया, नवनीत कौर, नवजोत कौर, निशा, ज्याति, मोनिका, नेहा, शर्मिला देवी, उदिता, जासमिन, पूजा गहलोत, पूजा सिहाग ने राष्ट्रमंडल खेलों में पदक जीत कर देश को गौरवान्वित किया।

    यह हमारे लिए बड़ा गौरव का विषय है कि देश के प्रधानमंत्री माननीय श्री नरेन्द्र मोदी जी ने महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए कई योजनाएं शुरू की हैं जैसेः

    ► प्रधानमंत्री मातृ योजना,

    ► उज्जवला योजना,

    ► महिला हेल्पलॉइन,

    ► नारी शक्ति पुरस्कार योजना,

    ► निर्भया योजना,

    ► बेटी बचाओ-बेटी पढाओ

    ► सबका साथ -सबका विकास

    इन योजनाओं का लाभ उठाकर महिलाएं आगे बढ़ रही है।

    मुुझे खुशी है कि हरियाणा में प्रशासन द्वारा सभी योजनाओं को कारगर ढंग से लागू कर महिला सशक्तिकरण को प्राथमिकता दी गई है।
    वर्ष दो हज़ार चौदह में एक हजार लड़कों के पीछे केवल आठ सौ इकहतर लड़कियां ही रह गई थी, जबकि इस समय प्रदेश में लिंगानुपात नौ सौ ग्यारह हो चुका है।
    इसके साथ-साथ उच्च शिक्षा में महिलाओं का नामांकन अनुपात छियासठ प्रतिशत है जो पूरे देश में सर्वाधिक है।
    मैं सब नागरिकों और समाजसेवी संस्थाओं से भी अपील करता हूं कि वे महिला सशक्तिकरण के लिए प्रगतिशील सोच अपनाएं।
    मैं पुनः आप सबोंको अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस की हार्दिक बधाई देता हूं।
    जय हिन्द।